लंबी ऑनलाइन क्लासों से खराब हो रहीं बच्चों की आंख! इन बातों का ध्यान रखें
मुंबई –
कोरोना काल में स्कूल-कॉलेज बंद है। इस वजह से इन दिनों ऑनलाइन क्लासेज का चलन शुरू है। बच्चे कई घंटे ऑनलाइन स्टडी कर रहे है। अचानक इस तरह के बदलाव से कई बच्चों की आंखों में शिकायत होने लगी ही। एक स्टडी के मुताबिक, आंखों में तनाव, लालीपन और धुंधला दिखाई देने जैसी परेशानी भी बढ़ गई है। इसे डिजिटल आई स्ट्रेन कहते हैं।
आंखों पर तनाव होने का कारण यह भी है कि बच्चे डिजिटल उपकरणों का सही तरीके से इस्तेमाल नहीं कर रह। जैसे स्क्रीन को गलत तरीके से देखना या गलत कोण में रखकर इस्तेमाल करन। कंप्यूटर की बात करें तो उससे एक नीली रोशनी निकलती है जो आंखों के लिए अच्छी नहीं है। डॉक्टर्स के मुताबिक, बच्चों द्वारा डिजिटल डिवाइस के इस्तेमाल पर माता-पिता को नजर रखनी चाहिए। वह यह देखते रहें कि बच्चों में आई स्ट्रेन जैसी समस्या जैसे आंख में दर्द, आंख को मसलने के आलावा पीठ, गर्दन, सिर दर्द की शिकायत तो नहीं हो रही है। दरअसल, बच्चों की आंख पूरी तरह विकसित नहीं हुई होती तो ऐसे में वे जल्दी मायोपिया के शिकार हो सकते हैं।
इससे बचने के लिए छोटे बच्चों को स्क्रीन से दूर ही रखना चाहिए, वहीं थोड़े बड़े बच्चों को हद से हद एक घंटा स्क्रीन के सामने बैठने देना चाहिए। बच्चों के साथ-साथ बड़े भी डिजिटल उपकरण इस्तेमाल करते वक्त सही तरीके से बैठें। उस दौरान लेटे नहीं. कुर्सी-मेज आदि का इस्तेमाल करें। साथ ही स्क्रीन और आपकी आंखों में कम से कम एक हाथ यानी 20 इंच का फासला होना चाहिए। स्क्रीन की ब्राइटनेस को भी कम रखें. 20-20 का रूल भी बनाया गया है।
इसमें स्क्रीन के सामने बैठने के दौरान हर 20 मिनट में ब्रेक लेना चाहिए।